डॉ. सुदेश घोड़ेराव: साधारणपणे 1990 च्या सुमारास डॉ. नरेंद्र दाभोळकर यांच्या प्रमुख नेतृत्वातून आणि माजी न्यायमूर्ति चंद्रशेखर धर्माधिकारी, एडवोकेट भास्करराव मिसर यांचे प्रयत्नातून जादूटोणा विरोधी

युवाओं की दुनिया
डॉ. सुदेश घोड़ेराव: साधारणपणे 1990 च्या सुमारास डॉ. नरेंद्र दाभोळकर यांच्या प्रमुख नेतृत्वातून आणि माजी न्यायमूर्ति चंद्रशेखर धर्माधिकारी, एडवोकेट भास्करराव मिसर यांचे प्रयत्नातून जादूटोणा विरोधी
खेमलाल खटर्जी: मैं मज़दूर हूँ,ज़मीन से आसमान तक मशहूर हूँ।कभी लकड़ी का कोयला,तो कभी कोहिनूर हूँ।। डूबा हूँ मुश्किलों के समंदर में,तो कभी दुनिया भर
शशांक शेखर और महिपाल: भारतीय संविधान की प्रस्तावना में व्यक्त संकल्पों में से एक- स्वतंत्रता को मनुष्य का एक ऐसा प्राकृतिक अधिकार बताया गया, जिसका
युवानिया डेस्क द्वारा साझा की गई – मंदिर-मस्जिद-गिरजाघर ने बाँट लिया भगवान को कविता के लेखक – विनय महाजन : मंदिर-मस्जिद-गिरजाघर ने बाँट लिया भगवान
एड. आराधना भार्गव: भारत एक पंथनिरपेक्ष राज्य है। इसका अर्थ है कि यह सभी धर्मो के प्रति तटस्थता और निष्पक्षता का भाव रखता है। पंथनिरपेक्षता
डा. गणेश माँझी: “सरना” शब्द आज पूरी दुनिया जानती है। इस शब्द के गहराई और शुरुआत में जाएँ तो शायद ही ये शब्द किसी आदिवासी